सीएम चन्नी पर पीएम मोदी का पलटवार
पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी द्वारा यूपी, बिहार को लेकर दिए बयान को लेकर राजनीतिक घमासान शुरू हो गया है। चन्नी के इस बयान पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पंजाब के बोहर में एक जनसभा को संबोधित करते हुए जोरदार पलटवार किया है। उन्होंने कहा कि संत रविदास जी काशी में पैदा हुए और गुरु गोविंद सिंह जी बिहार के पटना साहिब में, तो क्या आप गुरू गोविंद जी को भी पंजाब से निकाल देंगे?
सीएम चन्नी ने कहा था
बयानों के इस घमासान में चुनावी जंग तेज होती नजर आ रही है। बता दें कि बयानबाजी के इस दौर में बीते मंगलवार को पंजाब सीएम चरणजीत सिंह चन्नी ने एक चुनावी जनसभा में प्रियंका गांधी की मौजूदगी में बयान दिया था, “प्रियंका पंजाब की बहू हैं। वह हमारी पंजाबन है। इसलिए पंजाबियों, एकजुट हो जाओ। यूपी, बिहार और दिल्ली के भैया राज करना चाहते हैं यहां, लेकिन हम उन्हें पंजाब में प्रवेश नहीं करने देंगे।” इस दौरान जनसभा में प्रियंका गांधी भी मौजूद रही थीं।
पीएम मोदी का पलटवार
पीएम मोदी ने पंजाब सीएम चन्नी के इस बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि कांग्रेस हमेशा से एक क्षेत्र के लोगों को दूसरे से लड़ाती आई है। यहां कांग्रेस के मुख्यमंत्री ने जो बयान दिया, जिस पर दिल्ली का परिवार उनके साथ खड़े होकर तालियां बजा रहे थे, वो पूरे देश ने देखा। कहा कि “अपने इन बयानों से ये लोग किसका अपमान कर रहे हैं। यहां का कोई ऐसा गांव नहीं होगा, जहां हमारे उत्तर प्रदेश या बिहार के भाई बहन मेहनत न करते हों।” पीएम मोदी ने कहा कि “कल ही हमने संत रविदास जी की जयंती मनाई है। वो कहां पैदा हुए? उत्तर प्रदेश में, बनारस में। क्या आप संत रविदास जी को भी पंजाब से निकाल देंगे? गुरू गोविंद सिंह जी का जन्म कहां हुआ था? पटना साहिब, बिहार में। क्या आप गुरू गोविंद जी को भी पंजाब से निकाल देंगे”?
गरीबों की तकलीफ दूर करना प्राथमिकता
मोदी ने कहा कि गरीबों की तकलीफ दूर हो, उनका जीवन आसान बने, ये हमारे लिए सर्वोच्च प्राथमिकता का काम है। कोरोना काल में भाजपा सरकार गरीबों को मुफ्त राशन दे रही है और मुफ्त वैक्सीन भी दे रही है। पारदर्शी सरकार आई तो पंजाब में बेहतर इंफ्रास्ट्रक्चर होगा। न उद्योगों को पलायन करना पड़ेगा और न नौजवानों को अपना गांव, अपने दोस्त, अपने बूढ़े मां बाप, अपने खेत खलिहान छोड़कर पंजाब से बाहर नहीं जाना पड़ेगा। कहा कि आयुष्मान भारत योजना की वजह से पंजाब के 11 लाख लोगों ने अस्पतालों में मुफ्त इलाज करवाया है। पंजाब के नागरिकों को हिंदुस्तान के किसी भी राज्य में यह सुविधा उपलब्ध है। जन औषधि केंद्रों में सस्ती दवाइयां उपलब्ध करवाई जा रही हैं। हम गरीब और मध्यम वर्ग के लिए जीते हैं, उन्हीं के लिए काम करते हैं। पंजाब के लोगों के 300 करोड़ रुपये इस योजना से बच रहे हैं।