शोभित विश्वविद्यालय मेरठ द्वारा दिल्ली स्थित यूनिवर्सिटी टावर में आयोजित कार्यक्रम में डॉ अशोक दलवई (आईएएस) को शोभित इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग टेक्नोलॉजी डीम्ड यूनिवर्सिटी मेरठ द्वारा विश्वविद्यालय के सह-संस्थापक एवं कुलाधिपति कुंवर शेखर विजेंद्र द्वारा शोभित यूनिवर्सिटी मेरठ के कुलपति डॉ अजय राणा एवं शोभित विश्वविद्यालय गंगोह के कुलपति प्रोफेसर डॉ रंजीत सिंह एवं प्रो एम मोनी पूर्व डायरेक्टर जनरल एनआईसी की उपस्थिति में मानद प्राध्यापक ( ऑनरेरी प्रोफेसरशिप) की उपाधि से सम्मानित किया गया। डॉ अशोक दलवई भारत सरकार द्वारा किसानों की आय को दोगुना करने संबंधी बनाई गई समिति (डीएफआई) के पूर्व अध्यक्ष, वर्तमान में राष्ट्रीय वर्षा सिंचित क्षेत्र प्राधिकरण (एनआरएए) कृषि और किसान कल्याण मंत्रालय भारत सरकार के सीईओ है।
डॉ दलवई जी के पास 35 वर्षों से अधिक उत्कृष्ट अनुकरणीय उपलब्धियां हैं इन्होंने उड़ीसा राज्य के क्षेत्रों और नीति निर्माण के क्षेत्र में विभिन्न संस्थाओं में कार्य किया है। इसके अलावा ओडिशा के विभिन्न पिछड़े और आदिवासी इलाकों में सेवा करने का उनका जमीनी स्तर का अनुभव और शहरी प्रबंधन उन्हें दूसरों से अलग बनाता है।
आज भारत सरकार और यूजीसी भी कह रही है कि शिक्षण संस्थाओं में प्रशासनिक सेवा एवं इंडस्ट्री से जुड़े लोगों को प्रोफेसर बनाया जाना चाहिए परंतु शोभित विश्वविद्यालय इस दिशा में पहले से ही कार्य कर रहा है। इससे पहले भी विश्वविद्यालय द्वारा अलग-अलग क्षेत्रों में बहुमूल्य योगदान देने के लिए प्रमुख विभूतियों को ऑनरेरी प्रोफेसरशिप की उपाधि से सुशोभित कर चुका है। उसी क्रम में आज कृषि के क्षेत्र एवं उससे जुड़ी नीति निर्माण के क्षेत्र में अपना बहुमूल्य योगदान देने के लिए विश्वविद्यालय ने डॉ अशोक दलवई जी को मानद प्राध्यापक की उपाधि से सुशोभित किया है।
भारत के माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने एक सपना देखा था अपने देश के किसानों की आयु को 2022 तक दोगुना करने का उनके उसी सपने को मजबूती देने के लिए शोभित विश्वविद्यालय प्रयासरत है। जिसके चलते शोभित विश्वविद्यालय ने पिछले 18 अगस्त 2020 से लगातार नेशनल वेबीनार सीरीज के माध्यम से पिछले 71 हफ्तों से 108 से अधिक वेबीनार आयोजित किए हैं। जिसमें कृषि के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य कर रहे नए उधमी, एग्री स्टार्टअप एवं एग्रीबिजनेस से जुड़ी कंपनियों को एक मंच प्रदान कर उन्हें एक साथ लेकर आए हैं। जिसके चलते देश के विभिन्न हिस्सों से किसानों की आय को दोगुना करने संबंधी विभिन्न सुझाव सामने आए हैं जिनको विश्वविद्यालय ने भारत सरकार तक पहुंचाने का कार्य किया है।
डॉ अशोक दलवई जी ने शोभित विश्वविद्यालय की प्राचीन विरासत की शुरुआत करने वाले श्री बाबू केदारनाथ जी को श्रद्धांजलि देते हुए अपने संबोधन की शुरुआत करते हुए कहा कि मेरे लिए यह एक सम्मान और गौरव का पल है। उन्होंने कहा कि मुझे बचपन से ही शिक्षक बनना था किंतु किसी कारणवश वह प्रशासनिक सेवा में चले गए किंतु आज उनके बचपन का सपना पूरा हो गया जिसके लिए उन्होंने शोभित विश्वविद्यालय को धन्यवाद दिया। उन्होंने बताया कि जिस प्रकार शोभित विश्वविद्यालय बहु अनुशासनिक क्षेत्रों में कार्य कर रहा है वह काबिले तारीफ है। जिस प्रकार शोभित विश्वविद्यालय कृषि एवं कृषि सूचना विज्ञान के क्षेत्र में कार्य कर रही है वह बहुत महत्वपूर्ण है विश्वविद्यालय द्वारा कृषि के क्षेत्र से जुड़े विभिन्न नए उद्यमियों एवं नए एग्री स्टार्टअप की शुरुआत करने वाले युवाओं को एक प्लेटफार्म पर लाकर उनके द्वारा सुझाए गए सुझावों से 2022 तक किसानों की आय को दोगुना करने वाली रिपोर्ट को बनाने में बहुत सहायता मिली है। विश्वविद्यालय का यह कार्य काबिले तारीफ है। उन्होंने नई शिक्षा नीति के बारे में बोलते हुए कहा कि आज के समय में ज्ञान के सार्वभौमिकरण पर ध्यान देने की आवश्यकता है। हमारी शिक्षा नीति ऐसी हो कि हमारे देश के प्रत्येक बच्चे को शिक्षा मिल सके। अंत में उन्होंने कहा कि यह मेरी जिम्मेदारी ही नहीं बल्कि यह मेरा धर्म है कि मैं शोभित विश्वविद्यालय मेरठ एवं गंगोह के छात्रों एवं शिक्षकों के साथ अपना ज्ञान साझा कर पाऊं और उन्हें कुछ नया दे सकूं।
विश्वविद्यालय के कुलाधिपति कुंवर शेखर विजेंद्र ने श्री अशोक दलवई जी को आधिकारिक रूप से शोभित विश्व विद्यालय परिवार का हिस्सा बनने पर बधाई देते हुए कहा कि अगर हमें अपने देश को आत्मनिर्भर बनाना है तो हमें अपना इरादा, समावेश, निवेश, आधारभूत संरचना एवं नवाचार और अनुसंधान पर कार्य करना होगा तभी कहीं जाकर हमारे देश की अर्थव्यवस्था में तेजी आएगी। अगर हम कृषि के क्षेत्र पर ही विशेष ध्यान दें तो निश्चित रूप से कृषि के द्वारा भी आत्मनिर्भरता आ सकती है। इसी क्रम में शोभित विश्वविद्यालय पिछले कई वर्षों से कृषि एवं कृषि से जुड़े विभिन्न क्षेत्रों पर कार्य कर रही है। उसी क्रम में आज डॉ अशोक दलवई जी को विश्वविद्यालय अपने साथ लेकर आई है जिससे आगे चलकर विश्वविद्यालय के छात्रों एवं छात्रों के द्वारा किए गए कार्यों को गति मिले और सही मार्गदर्शन मिल सके।
कार्यक्रम के दौरान प्रो एम.मोनी प्रोफेसर एमेरिटस शोभित विश्वविद्यालय द्वारा 2022 का किसानों की आय को दोगुना करने वाले कार्यों के बारे में विस्तृत रूप से बताया गया। इसके अलावा कृषि के अलग-अलग क्षेत्रों में महत्वपूर्ण कार्य कर रहे व्यक्तियों को भी सम्मानित किया गया।