मेरठ-शोभित विश्वविद्यालय द्वारा आयोजित पांच दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग शिविर के चौथे दिन मुख्य वक्ता प्रख्यात योगाचार्य पदम श्री नौफ मारवाई ने योग से होने वाले वैज्ञानिक फायदों के बारे में विस्तृत रूप से बताया।योग शिविर के चौथे दिन की शुरुआत करते हुए सेंटर फॉर योगा एंड रिसर्च की निदेशक मनोचिकित्सक प्रो डॉ पूनम देवदत्त ने मुख्य वक्ता योगा आचार्य नौफ मारवाई का परिचय देते हुए बताया की नौफ मारवाई ने सऊदी अरब में रहते हुए योगा के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। उन्होंने योगा को सऊदी अरब में स्पोर्ट्स के रूप में स्थापित किया है। योगा आचार्य नौफ मारवाई को भारत सरकार द्वारा पदम श्री से नवाजा गया है। केरला सरकार द्वारा योग रतन अवार्ड एवं वुमन एंपावरमेंट अवार्ड से भी नवाजा जा चुका है। योग शिविर की शुरुआत में विश्वविद्यालय के कुलाधिपति कुंवर शेखर विजेंद्र ने नौफ मारवाई की प्रशंसा करते हुए बताया की पुरातन काल से महिलाओं को सबसे अधिक शक्तिशाली, प्रेरक एवं निर्माता के रूप में देखा गया है उन्होंने योग के बारे में बताया कि योग केवल रोगों से लड़ने के लिए नहीं है योग एक माध्यम है जीवन को जीने का।
शिविर में मुख्य वक्ता नौफ मारवाई ने योग के वैज्ञानिक फायदो के बारे में कहा कि जैसा कि हम सब जानते हैं कि अभी पूरा विश्व कोरोना महामारी से गुजर रहा है ऐसे वक्त में हमारे नर्वस सिस्टम एवं हमारी मनोवैज्ञानिक दशा स्थिर नहीं है। ऐसे वक्त में योग ही केवल एक मात्र माध्यम है जिसकी सहायता से हम इस विषम परिस्थिति में अपने नर्वस सिस्टम एवं मानसिक स्थिति को संतुलित बनाए रख सकते हैं। उन्होंने हमारे मस्तिष्क में बनने वाले रसायन के बारे में भी बताया। उन्होंने बताया कि हमारे मस्तिष्क में खुश रहने जैसे हार्मोन बनते हैं ऐसे हारमोंस के रसायन को बनाने के लिए योग बहुत कारगर है। उन्होंने बताया कि अगर हम नियमित रूप से योग करेंगे तो हमारी क्वालिटी ऑफ लाइफ बेहतर होगी। कार्यक्रम के अंत में उन्होंने विश्वविद्यालय द्वारा सेलिब्रेटिंग लाइफ विद योगा विषय पर आयोजित पांच दिवसीय अंतरराष्ट्रीय योग शिविर की प्रशंसा करते हुए कहा कि इस तरह के कार्यक्रम समाज में बड़ा बदलाव लेकर आएंगे। कार्यक्रम के दौरान विश्वविद्यालय के छात्र, शिक्षक एवं कर्मचारी गण मुख्य रूप से उपस्थित रहे कार्यक्रम का संचालन सेंटर फॉर योगा एंड रिसर्च की निदेशक डॉक्टर पूनम देवदत्त द्वारा किया गया।